Posts

Showing posts from September, 2016

"मम्मी के हाथ में चप्पल वाटा क्यों है" Mummy ke hath me Chappal Vata kyo hai?

Image
हैलो - हाय, बॉय - बॉय,  टाटा ... क्यों है ? 'निठल्लों' की गली में 'सन्नाटा' ... क्यों है ? मुहब्बत के "ऑन लीज़" ठेकेदार ... तू बता, इसमें बस दुकानदार का 'घाटा' ... क्यों है ? रजाई के भीतर मोबाईल.. कोई गन्दी बात नहीं है! तो मम्मी के हाथ में चप्पल वाटा ...क्यों है ? ओए, पहले कह रहा था, जलता नहीं मुझसे! फिर "इतना हंगामा" तूने काटा ... क्यों है ? दो मिनट की ठण्ड से पतलून गीली होती है, तो करता तू इतना 'सैर -सपाटा'... क्यों है ?           - सदैव से आपका -             " आर्यण ठाकुर "           (अंकुर सिंह राठौड़) Visit Author's official Facebook profile : Facebook. com/ankurthakur21

"ताज्जुब"

Image
वो महल रेत का.... टूट गया। कोई अपना फिर से छूट गया। बड़ी अच्छी किस्म का "ठग" था वो, सब बैठे बिठाए ही लूट गया। पता  है मुझको, वो..  सपना था। लेकिन.. फिर भी! क्यों टूट गया। सख्ती जिसकी खुद में मिसाल थी, "ताज्जुब" हीरा होकर भी फ़ूट गया। देख पपीहा... मर न जाए कहीं..! उसकी चोंच से  पानी  छूट गया। हार मानना "परिंदे" ने नहीं सीखा, तूफान से बेशक़ घरोंदा टूट गया।                  सदैव से आपका                  - आर्यण ठाकुर -                (अंकुर सिंह राठौड़) Visit official Facebook address: www.Facebook.com/ankurthakur21